नई दिल्ली : चीनी मंडी
₹ 5500 करोड़ के पैकेज के बाद केंद्र सरकार ने चीनी उद्योग के लिए और एक सहायता भरा कदम उठाया है, 28 सितंबर को जारी की एक अधिसूचना में चीनी मिलों को अक्टूबर 2018 में घरेलू खुले बाजार में 22 लाख मेट्रिक टन चीनी बेचने की इजाजत दी हैं। खाद्य मंत्रालय ने देश के 504 मिलों को चीनी बिक्री कोटा आवंटित किया है। सरकार ने यह भी घोषणा की है कि, चीनी मिलों को इसी महीने के 10 वें दिन में चीनी बिक्री और प्रेषण सहित आवश्यक जानकारी P-II के माध्यम से देना अनिवार्य होगा ।
इसके अलावा, अक्टूबर महीने के दौरान, जो चीनी मिलें बी भारी गुड़ (मोलासिस) से चीनी की जगह इथेनॉल उत्पादन करने के लिए पात्र सफेद / परिष्कृत चीनी मात्रा के अलावा अतिरिक्त मात्रा में चीनी बेचने की इजाजत अधिसूचना की सारणी में स्तंभ 4 में उल्लेख किया है। 1966 गन्ना (कंट्रोल) ऑर्डर में निहित प्रावधानों की तरह अक्टूबर महीने के दौरान बी भारी गुड से चीनी उत्पादन के एवज में इथेनॉल उत्पादन की गणना होगी और अक्टूबर महीने के लिए P-II में उल्लेख किया जाना चाहिए।
पिछले महीने सरकार ने देश के 524 मिलों को 20 लाख मेंट्रिक टन चीनी निर्यात कोटा आवंटित किया था, अब इसमें लगभग 2 लाख मेंट्रिक टन चीनी कोटा आवंटित किया है । हाल ही में सरकार ने चीनी उद्योग को आर्थिक कठिनाईयों में सहायता करने के लिए ₹ 5500 करोड़ के पैकेज की घोषणा की। इस पैकेज द्वारा चीनी उद्योग में स्थिरता को बढ़ाने और किसानों का करोडो रुपयों का गन्ना बकाया भुगतान करने में मदद मिल सके। चीनी मिलों की तरलता में सुधार, निर्यात को बढ़ावा और इथेनॉल उत्पादन के साथ-साथ निर्यात की सुविधा के लिए पैकेज मददगार साबित हो सकता है । ₹ 5500 करोड़ के पैकेज के बाद अब अक्टूबर माह का चीनी बिक्री कोटा चीनी उद्योग को आर्थिक हालत सुधारने में मददगार साबित होगा !