उत्तर प्रदेश की गन्ना समितियों एवं प्राधिकरणों में बढ़ा हुआ डी.ए. लागू

प्रदेश के मा. मुख्यमंत्री, योगी आदित्यनाथ द्वारा सहकारी संस्थाओं को मजबूत करने के दिये गये निर्देशों एवं मा. गन्ना मंत्री, श्री लक्ष्मी नारायण चौधरी के मार्ग-दर्शन में प्रदेश की सहकारी गन्ना समितियों को आर्थिक रूप से मजबूत करने तथा उनमें कार्यरत कार्मिकों के हितों के दृष्टिगत गन्ना आयुक्त एवं निबन्धक, सहकारी गन्ना एवं चीनी मिल समितियों द्वारा निरन्तर सकारात्मक निर्णय लिये जा रहे हैं। इसी क्रम में गन्ना समितियों एवं प्राधिकरण के कार्मिकों को बढ़े हुए डी.ए. का तोहफा देते हुए श्री भूसरेड्डी ने बताया कि प्रदेश की आर्थिक रूप से मजबूत सॉतवें वेतनमान की समितियों के साथ-साथ छठें एवं पॅचम वेतनमान की गन्ना समितियों तथा जिला एवं क्षेत्रीय गन्ना सेवा प्राधिकरणों में बढ़े हुए डी.ए. की स्वीकृति प्रदान कर दी गई है।

इस सम्बन्ध में विस्तृत जानकारी देते हुए प्रदेश के निबन्धक, सहकारी गन्ना समितियॉ, उ.प्र., श्री संजय आर. भूसरेड्डी द्वारा बताया गया कि, प्रदेश की सहकारी गन्ना विकास समितियॉ एवं प्राधिकरणों में कार्यरत लगभग 5 हजार कार्मिकों के आर्थिक हितों में अभिवृद्धि करने तथा उनका मनोबल बढ़ाने के लिए गन्ना समितियों के साथ-साथ जिला एवं क्षेत्रीय गन्ना सेवा प्राधिकरणों में भी बढ़ा हुआ डी.ए. स्वीकृत कर दिया गया है। उन्होंने यह भी बताया कि डी.ए. का कैलकुलेशन बेसिक-पे को आधार मानकर प्रतिशत में होता है। डी.ए. कर्मचारियों को महंगाई को ध्यान में रखते हुए उनके खर्चों को सहन करने में मदद करने के लिए दिया जाता है।

निबन्धक ने कार्मिकों से यह भी अपेक्षा की है कि, वह विभाग की विश्वसनीयता अक्षुण्य रखने के उद्देश्य की पूर्ति के लिए पूर्ण मनोयोग से अपने पदीय दायित्वों का निर्वहन करें, साथ ही अपनी संस्था को और अधिक मजबूत बनाने हेतु सदैव प्रयासरत रहें।

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