बेलगावी : कर्नाटक राज्य रायथ संघ और हसिरू सेना के अध्यक्ष कोडिहल्ली चंद्रशेखर ने चेतावनी दी है कि, अगर राज्य सरकार इस पेराई सत्र के लिए गन्ने की कीमत तय नहीं करती है तो गन्ना किसान राज्य विधानमंडल के शीतकालीन सत्र के दौरान सुवर्ण विधान सौध का घेराव करेंगे। पत्रकारों से बातचीत करते हुए उन्होंने कहा कि, चीनी मिलें रिकवरी के आधार पर गन्ने की कीमत घोषित करती हैं और उन पर कोई नियंत्रण नहीं है। नतीजतन, किसानों को न्याय नहीं मिल रहा है। इसलिए, उन्होंने सुझाव दिया कि गन्ने की कीमत तय करने के लिए पैनल की जरूरत है।
उन्होंने कहा कि, केंद्र सरकार ने गन्ने के लिए 2,500 रुपये प्रति टन का उचित और लाभकारी मूल्य (एफआरपी) घोषित किया है। हालांकि, राज्य सरकार ने अभी तक गन्ने की कीमतों की घोषणा नहीं की है। चीनी मिलों ने पेराई प्रक्रिया शुरू कर दी है। कम से कम अब, राज्य सरकार को कीमतों की घोषणा करनी चाहिए। हालांकि, राज्य सरकार की ओर से इस संबंध में कोई कार्रवाई नहीं की जा रही है।
उन्होंने कहा, यदि राज्य सरकार गन्ने के लिए मूल्य घोषित करने की पहल नहीं करती है तो हम यहां सुवर्ण विधान सौध का घेराव करेंगे।उन्होंने आग्रह किया की, चीनी मिलों को रिकवरी के आधार पर एकतरफा मूल्य घोषित करने से रोकने के लिए भी उपाय किए जाने चाहिए। कोडिहल्ली ने इस बात पर भी नाखुशी जताई कि चीनी मिलों ने तय समय में किसानों का बकाया नहीं चुकाया।
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