पुणे : चीनी मंडी
जिला कलेक्टर नवल किशोर राम ने कहा कि, उन्होंने अपने सहयोगी के साथ कोआर्डिनेट किया, और 38,000 गन्ना श्रमिकों को मराठवाड़ा में अपने गाँव पहुंचाया।
बीड और अहमदनगर के श्रमिकों को उनके गांव ले जाने के लिए उनके ठेकेदारों ने ट्रक किराए पर लिए। दो दिन से श्रमिक अपने गांवों को लौट रहें है।
राम ने कहा कि, 50,000 से अधिक श्रमिक पुणे में फंसे हुए थे और संबंधित जिलों के जिलाधिकारीयों के बीच समन्वय के बाद उनकी अंतर-जिला शिफ्टिंग शुरू की गई। उन्होंने कहा, ये मजदूर जिले के विभिन्न स्थानों पर फंसे हुए थे और अस्थायी केंद्रों में रखे गए थे। राज्य सरकार के निर्देशों के अनुसार, कलेक्टरों ने कोआर्डिनेट किया और उन्हें उनके गांवों में वापस भेजने की व्यवस्था की गई।
उन्होंने कहा कि, अन्य राज्यों के श्रमिकों को केंद्र सरकार के निर्देशों के बाद भेजा जाएगा।अपने गांवों में वापस जाने वाले श्रमिकों को होम क्वारंटाइन की सलाह दी गई है।
राज्य सरकार ने तय किया था कि, एक लाख से अधिक गन्ना श्रमिक मेडिकल मेडिकल टेस्ट के बाद ही लॉकडाउन के बीच अपने गाँव लौटेंगे।
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