गन्ना पेराई देरी से शुरू करने पर हो सकता है नुकसान: महाराष्ट्र स्टेट कोआपरेटिव शुगर फैक्ट्रीज फेडरेशन

पुणे, महाराष्ट्र: महाराष्ट्र स्टेट कोआपरेटिव शुगर फैक्ट्रीज फेडरेशन ने महाराष्ट्र के चीनी आयुक्त डॉ. कुणाल खेमनार को पेराई सीजन शुरू करने की तारीख बदलने को चर्चाओं को लेकर पत्र लिखा है। इस पत्र में कहा गया है की, मंत्रिस्तरीय समिति की बैठक में समुचित चर्चा के बाद 15 नवंबर 2024 को पेराई सत्र शुरू करने के संबंध में शासनादेश जारी कर दिए गए हैं। लेकिन पिछले कुछ दिनों से पेराई तारीख बदलने की चर्चा चल रही है।

पेराई तारीख बदलने से पहले निम्नलिखित महत्वपूर्ण बिंदुओं पर गंभीरता से विचार करना जरूरी है।

इस साल 15 नवंबर 2024 यानि लगभग 15 दिन देरी से पेराई शुरू करने का फैसला किया गया है। वास्तविक, 5 नवंबर 2024 से ही पेराई शुरू करना जरुरी था। अगर पेराई सीजन शुरू करने में और देरी होती है, तो एथेनॉल प्लांट देरी से शुरू करने पड़ सकते है। एथेनॉल परियोजनाएं 30 नवंबर 2024 से पहले शुरू नहीं हो पाएंगी। परिणामस्वरूप, केंद्र सरकार के एथेनॉल कार्यक्रम के तहत नवंबर की एथेनॉल आपूर्ति करना मिलों को मुश्किल हो जायेगा। इससे केंद्र सरकार के महत्वपूर्ण पेट्रोल मिश्रण कार्यक्रम में बाधा आएगी, साथ ही मिलों के लिए दंडात्मक कार्रवाई के तहत OMCs को जुर्माना देना अनिवार्य हो जाएगा।

राज्य में खांडसारी, गुड़ इकाइयां और गुड़ पाउडर परियोजना शुरू होने से गन्ने की सप्लाई शुरू हो गई है। गन्ना मजदूर काम न होने के कारण आर्थिक नुकसान झेल रहे हैं। पेराई में लंबी देरी के कारण मिलों को वित्तीय संकट का सामना करना पड़ सकता है। कर्नाटक में 15 नवंबर 2024 पेराई शुरू होने वाली है, और अगर महाराष्ट्र में पेराई देरी से शुरू होती है तो महाराष्ट्र के गन्ना सप्लाई के साथ साथ यहां के मजदूर वहां पलायन करने की संभावना है। इससे महाराष्ट्र के मिलों पर प्रतिकूल असर हो सकता है। पिछले 2-3 वर्षों के अनुभव के अनुसार मार्च के महीने में जैसे-जैसे गर्मी की तीव्रता बढ़ रही है, गर्मी शुरू होने के बाद गन्ना मजदूर अपने गाँव लौट जाते हैं। यदि सरकार द्वारा पूर्व घोषित तिथि में कोई परिवर्तन किया जाता है तो उपरोक्त सभी महत्वपूर्ण विषयों को गंभीरता से लेते हुए इसकी सूचना सरकार को दें।

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