रुद्रपुर, उत्तराखंड: पिछले कई सालों से बंद पड़ी उत्तराखंड की सितारगंज चीनी मिल शुरू करने की मांग को लेकर अखिल भारतीय किसान सभा ने बिरिया में धरना दिया और उन्होंने राज्य सरकार से मिल को आगामी सत्र से पुन: शुरू करने की मांग की। आंदोलनकारियों ने सरकार पर किसानों की मांगो को दरकिनार करने का भी आरोप लगाया।
जिलाध्यक्ष त्रिलोचन सिंह ने कहा, 5 दिसंबर 2017 को सितारगंज चीनी मिल बंद कर दी गई है, और सरकार पिछले दो वर्षों से सितारगंज चीनी मिल को पुन: चलाने का केवल आश्वासन दे रही है। मिल बंद होने के कारण किसानों की रूचि गन्ने की खेती में भी कम हो चुकी है, जिसके कारण गन्ने का रकबा भी कम हो गया है।
इससे पहले, राजनैतिक पार्टी कांग्रेस ने लंबित गन्ना बकाया और सितारगंज चीनी मिल को फिर से शुरू करने की मांग की थी। उनका कहना था की, सितारगंज चीनी मिल बंद होने से इलाके के हजारों गन्ना किसानों को भारी नुकसान का सामना करना पड़ रहा है।
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