कानपुर : राष्ट्रीय शर्करा संस्थान (एनएसआई) में शुक्रवार को स्थापना दिवस मनाया गया। शुभारंभ उपभोक्ता मामले, खाद्य और सार्वजनिक वितरण मंत्रालय की राज्यमंत्री निमुबेन जयंतीभाई बांभनिया और संस्थान की निदेशक डॉ. सीमा परोहा ने किया। राज्यमंत्री निमुबेन जयंतीभाई बांभनिया ने कहा कि, केंद्र सरकार ने पिछले दस सालों में एथेनॉल उत्पादन को काफी बढ़ावा दिया है। इसका फायदा चीनी उद्योग के साथ साथ देश के करोड़ों किसानों को भी हो रहा है। चीनी मिलों की आर्थिक तरलता की समस्या काफी हदतक कम हो गई है, और वह किसानों को समय पर गन्ना मूल्य भुगतान करने में सफल रही है। उन्होंने कहा, एनएसआई संस्थान के वैज्ञानिक बेहतर काम कर रहे हैं, जिसका लाभ चीनी मिल और शुगर इंडस्ट्री को मिल रहा है।
उन्होंने कहा, एथेनॉल उत्पादन और जैव ईंधन की मदद से भारत को स्वच्छ और हरित ऊर्जा का विकल्प दिया जा सकता है। राज्यमंत्री निमुबेन जयंतीभाई बांभनिया ने संस्थान में टिशू कल्चर लैब का शिलान्यास किया।इस अवसर पर उद्यमियों को शर्करा श्री पुरस्कार से सम्मानित किया गया। संस्थान की निदेशक डॉ. सीमा परोहा ने कहा कि, बायो फ्यूल को लेकर आईआईटी के साथ मिलकर सेंटर ऑफ एक्सीलेंस की स्थापना की गई है। जो पर्यावरण के लिए बड़ा बदलाव साबित होगा। कार्यक्रम में शुगर इंडस्ट्री से जुड़ी प्रदर्शनी का भी आयोजन किया गया। इस मौके पर शैलेंद्र कुमार द्विवेदी, अशोक कुमार गर्ग, डॉ. अशोक कुमार, संजय चौहान, अनूप कनौजिया, डॉ. विनय कुमार आदि मौजूद रहे।