पलवल : संयुक्त किसान मोर्चा (एसकेएम) के सदस्यों और प्रतिनिधियों ने इस वर्ष गन्ना पेराई सत्र के दौरान मिल में परिचालन फिर से शुरू करने में हो रही देरी के विरोध में सोमवार को राज्य सरकार के स्वामित्व वाली सहकारी चीनी मिल के बाहर धरना दिया। एसकेएम के प्रवक्ता महेंद्र सिंह चौहान ने कहा कि, हालांकि मिल को नवंबर के पहले सप्ताह तक गन्ना पेराई का काम शुरू कर देना चाहिए था, लेकिन संबंधित अधिकारी महीने के तीसरे सप्ताह तक भी इसे चालू करने में विफल रहे, जिससे उन किसानों को बड़ा नुकसान होने का खतरा है जो अपने खेतों में गन्ना काटने के बाद अगली फसल की बुवाई करना चाहते थे।
उन्होंने दावा किया कि, इस देरी के कारण पलवल और गुरुग्राम जिलों सहित क्षेत्र के गन्ना उत्पादक किसानों को नुकसान उठाना पड़ेगा। यदि वे समय पर मिल को गन्ना आपूर्ति करने में असमर्थ रहे तो उन्हें नुकसान उठाना पड़ सकता है। धरम चंद गुगेरा और पूर्व सरपंच उदय सिंह ने कहा कि, यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि देश के अन्नदाता किसानों को खेती से जुड़े हर कदम पर आंदोलन या विरोध प्रदर्शन करना पड़ रहा है। उन्होंने कहा कि हालांकि मिल का संचालन या समय पर खाद और बीज उपलब्ध कराना अधिकारियों या राज्य सरकार का नियमित काम है, लेकिन ऐसे मुद्दों पर देरी चिंता का विषय है। किसान संघ ने चीनी मिल अधिकारियों को ज्ञापन सौंपा, जिसमें उन्हें बताया गया कि चीनी मिल के बॉयलर का परीक्षण पूरा होने के बाद 24 नवंबर तक मिल चालू होने की संभावना है।