पुणे : चीनी आयुक्तालय ने राज्य सरकार के माध्यम से केंद्र सरकार के राष्ट्रीय सहकारी विकास निगम (NCDC) से ऋण प्राप्त करने के लिए लगभग 1 हजार 132 करोड़ रुपये के 10 चीनी मिलों के प्रस्ताव मंत्रालय को भेजे है। इसमें सभी पार्टी के नेताओं से जुड़ी मिलें शामिल है।
पुढारी में प्रकाशित खबर के अनुसार, तीन चीनी मिलों के प्रस्तावों की जांच आयुक्तालय स्तर पर शुरू है। महाराष्ट्र की राजनीती में चीनी मिलों ने हमेशा काफी अहम भूमिका निभाई है, और प्रदेश के कई राजनेता सहकारी और निजी चीनी मिलों से जुड़े हुए है।
चीनी मिलों ने मुख्य रूप से किसानों को गन्ने के उचित और लाभकारी मूल्य (एफआरपी) के भुगतान, श्रमिकों के बकाया भुगतान, गन्ना सीजन की शुरुआत के लिए धन की उपलब्धता और गन्ना कटाई परिवहन की लागत के लिए राष्ट्रीय सहकारी विकास निगम (NCDC) से ऋण मांगा है। 10 चीनी मिलों के प्रस्तावों की चीनी आयुक्तालय स्तर पर जांच कर ऋण स्वीकृति के लिए मंत्रालय स्तर पर भेजा गया है।
कांग्रेस, राष्ट्रवादी के नेताओं की मिलें भी शामिल….
पुणे जिले की दो चीनी मिलों में से मुख्य रूप से राकांपा शरद पवार गुट के विधायक अशोक पवार की रावसाहेब पवार घोडगंगा सहकारी चीनी मिल (शिरूर) ने 107.69 करोड़, इंदापुर में स्थित छत्रपति सहकारी मिल ने 140 करोड़ ऋण की मांग की है। छत्रपति सहकारी मिल उपमुख्यमंत्री अजित पवार समर्थक स्थानीय नेता की है। सोलापुर के पूर्व विधायक धनाजी साठे की श्री संत कुर्मदास सहकारी मिल – 59.70 करोड़, सोलापुर में कल्याणराव काळे की संत शिरोमणि वसंतराव काळे सहकारी मिल – 146.32 करोड़, अहमदनगर में अप्पासाहेब राजळे और विधायक मोनिका राजळे की वृद्धेश्वर सहकारी मिल – 99.07 करोड़, अहमदनगर में अगस्ती सहकारी – 75 करोड़, लोकनेते मारुतराव घुले ज्ञानेश्वर सहकारी मिल – 100 करोड़, बीड में जय भवानी सहकारी मिल – 150 करोड़, विधायक प्रकाश सोळंके के कि माजलगांव स्थित सुंदरराव सोळंके मिल – 104.18 करोड़, पूर्व मुख्यमंत्री अशोक चव्हाण की नांदेड़ स्थित भाऊराव चव्हाण सहकारी (इकाई 1) मिल – 150 करोड़ रुपये आदि मिलों के कुल 1,131 करोड़ 36 लाख रुपये के ऋण प्रस्ताव मंजूरी के लिए भेजे गये है।आयुक्तालय स्तर पर सोलापुर की संत दामाजी को-ऑपरेटिव (75 करोड़), और स्वामी समर्थ कोऑपरेटिव (50 करोड़) के कुल 225 करोड़ रुपये, अहमदनगर की कुकड़ी (100 करोड़) मिल के प्रस्तावों की जांच की जा रही है।
बीजेपी नेताओं की फैक्ट्रियों को बांटे गए लोन
माळशिरस (सोलापुर जिले) में पूर्व सांसद विजयसिंह मोहिते -पाटिल की श्री शंकर सहकारी चीनी फैक्ट्री को 113 करोड़ 42 लाख रुपये, सांसद धनंजय महाडिक की भीमा सहकारी मिल को 126 करोड़ 38 लाख रुपये, पूर्व सहकारिता मंत्री हर्षवर्धन पाटिल की पुणे जिले में स्थित इंदापुर में कर्मयोगी शंकररावजी पाटील को-ऑपरेटिव को 150 करोड़ और नीरा भीमा को-ऑपरेटिव को 75 करोड़, जालना में स्थित केंद्रीय मंत्री रावसाहेब दानवे की श्री रामेश्वर को-ऑपरेटिव को 34 करोड़ 74 लाख रुपये बांटे गए है।भाजपा विधायक अभिमन्यु पवार के स्वामित्व वाली लातूर की शेतकरी सहकारी चीनी फैक्ट्री को जल्द ही 50 करोड़ रुपये वितरित किए जाएंगे।
चीनी निदेशक (वित्त) यशवंत गिरी ने ‘पुढारी’ से बात करते हुए कहा की, राज्य सरकार द्वारा एनसीडीसी से 5 चीनी मिलों की ऋण स्वीकृति हेतु 499 करोड़ 54 लाख रुपये वितरित किये गये हैं। राज्य सरकार की गारंटी के तहत सहकारी चीनी मिल को दिए जाने वाले ऋण की ब्याज दर 9.46 प्रतिशत है। इस संबंध में प्राप्त 10 प्रस्तावों की जांच पूरी हो चुकी है और उन्हें आगे की ऋण मंजूरी पर निर्णय के लिए मंत्रालय को भेज दिया गया है। स्वीकृत ऋण राशि, नए स्वीकृत प्रस्तावों और जांचे गए ऋण स्वीकृति प्रस्तावों को ध्यान में रखते हुए, कुल ऋण राशि 1 हजार 900 करोड़ रुपये है।