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लखनऊ 10 जून (UNI): उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने किसानों के प्रति अपनी सरकार के समर्पण का इजहार करते हुये कहा कि मजबूत राजनीतिक इच्छाशक्ति के चलते अन्नदाता की माली हालत सुधरी है और खाद्यान्न के उत्पादन मेें रिकार्ड बढोत्तरी हुयी है।
श्री योगी ने सोमवार को लोकभवन में आयोजित किसान पाठशाला का शुभारंभ करते हुये कहा कि पिछले दो सालों में उनकी सरकार के कार्यकाल में गन्ना किसानो की स्थिति में बड़ा सुधार आया है। जो किसान उपेक्षा के चलते प्रदेश से पलायन करने को मजबूर था वो आज रिकॉर्ड उत्पादन कर रहा है।
उन्होने कहा कि इससे पहले राजनीतिक उपेक्षा के शिकार किसान आत्महत्या करने काे मजबूर थे। केन्द्र की नरेन्द्र मोदी सरकार की महत्वाकांक्षी योजनाओं का लाभ किसान तक नहीं पहुंचता था लेकिन पिछले दो वर्षों में यहां के किसानों ने रिकॉर्ड खाद्यान्न को प्राप्त किया है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि 2017 में प्रदेश में भाजपा सरकार बनने के बाद किसान हमारे एजेंडे में था जिसके लिये दो करोड़ 33 लाख किसानों के डाटा बैंक को तैयार करने और केंद्र की योजनाओं को लागू करने का कार्यक्रम तैयार किया गया। किसानों से जुड़ी समस्याओं की मॉनिटरिंग वह प्रतिदिन खुद ही करते हैं। आज प्रदेश में छह हजार से अधिक जगहों पर गेंहू क्रय केंद्र संचालित हो रहे हैं।
श्री योगी ने कहा कि प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि में एक करोड़ तीन लाख किसानों को 2-2 हजार की किश्त मिली है जबकि बचे हुये किसानो का जल्द ही इस योजना का लाभ मिलेगा। 2011 से 2017 तक गन्ना किसानों का बकाया था। पिछली दो सरकारों को देखेंगे तो 50 हजार करोड़ बमुश्किल बकाया दिया लेकिन उनकी सरकार ने दो सालों में 68 हजार करोड़ से ज्यादा बकाया का भुगतान कराया है।