हैदराबाद (सिंध) : पर्यावरण संरक्षण एजेंसी के क्षेत्रीय निदेशक इमरान अली अब्बासी ने कहा कि सभी डिस्टिलरी और चीनी मिलों को संचालन शुरू करने से पहले अपशिष्ट जल का सिंध पर्यावरण गुणवत्ता मानकों के तहत पूरी तरह से ट्रीटमेंट करना चाहिए। सभी चीनी मिलों को सलाह दी गई है कि, वे प्रत्येक डिस्टिलरी में अपशिष्ट प्रबंधन पर अंतर्राष्ट्रीय शोध अध्ययनों के लिए कार्यशालाएँ और कार्यक्रम आयोजित करें, जिससे गन्ने के अपशिष्ट का उपयोग फसलों के लिए उर्वरक के रूप में किया जा सके।
अब्बासी आधुनिक कृषि में चीनी उद्योग के अपशिष्ट उत्पादों के उपयोग पर एक कार्यशाला को संबोधित कर रहे थे। अब्बासी ने बताया कि, डिस्टिलरी ने रासायनिक ऑक्सीजन और अन्य मापदंडों में सुधार करके मिल के अपशिष्ट को उपयोग योग्य बनाने के लिए मेहरान विश्वविद्यालय के यूएसपीसीएएस विभाग के साथ एक समझौते पर हस्ताक्षर किए हैं।