रमाला: रमाला सहकारी चीनी मिल ने अपने यहां स्थानीय मजदूरों को काम से हटा दिया। इस मिल में आसपास के गांव के मजदूर काम करने के लिए आते थे। लेकिन हाल ही हुए यहां दो मजदूरों की मौत के बाद मिल प्रबंधकों ने आसपास के गांव के मजदूरों को काम देना बंद कर दिया है। इस वजह से मजदूरों के सामने रोजी रोटी का संकट खड़ा हो गया है।
गौरतलब है कि सालभर पहले इस सहकारी चीनी मिल में विस्तारीकरण का काम शुरु हुआ था। उस समय आसपास के दिहाड़ी मजदूरों को काम पर लगाया गया था। लेकिन मिल में सुरक्षा के पर्याप्त इंतजाम नहीं होने के कारण कई बार हादसे हुए और दो मजदूरों की जान गई। मिल मालिकों को मजदूरों की मौत के लिए 22.40 लाख रुपये का मुआवजा देना पड़ा था। मिल की खामियों का डीएम शकुंतला गौतम ने निरीक्षण किया और प्रबंधकों को सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम करने का निर्देश दिया।
स्थानीय मजदूरों को काम से हटाने के कारण रोजी-रोटी का संकट खड़ा हो गया है। मजदूर सुरेश, अनिल, फिरोज, जावेद, मनीष का कहना है कि रोजी रोटी की तलाश में अब वे कहां जाएं।
रमाला चीनी मिल यह न्यूज़ सुनने के लिए प्ले बटन को दबाये.