उत्तर प्रदेश: चीनी घोटाला मामलें में गोदाम कीपर सहित दो पर मुकदमा दर्ज

अलीगढ़, उत्तर प्रदेश: साथा चीनी मिल में 1100 क्विंटल चीनी घोटाले मामले ने अब नया रुख मोड़ लिया है। पहले दावा किया जा रहा था की, तकरीबन 35 लाख की चीनी बारिश में बही और बंदर खा गए। इस खबर ने देशभर में काफी सुर्खियाँ बटोरी थी। लेकिन यह दावा खोखला साबित हुआ था, क्योंकि यह चीनी मिल कई महीने से बंद थी। अब इस चीनी घोटाला मामले में जांच रिपोर्ट आने के बाद गोदाम कीपर सहित दो पर मुकदमा दर्ज किया गया है।

मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, 30 दिन में 35 लाख कीमत की 1100 क्विंटल चीनी बंदरों के द्वारा खाना अभिलेखों में दर्शाया गया है। ऑडिट रिपोर्ट में यह मामला उजागर हुआ। मामले में प्रबंधक, लेखा अधिकारी सहित 6 को दोषी पाया गया, जिसके बाद शासन द्वारा इसकी जांच करवाई गई। जांच रिपोर्ट में प्रभारी गोदाम कीपर और गोदाम कीपर के खिलाफ थाना जवां में मुकदमा दर्ज करवाया गया है। स्टोर कीपर ने बताया कि, ऑडिट टीम ने गेस्ट हाउस में बैठकर ही हवा हवाई ऑडिटिंग कर ली है। जितनी चीनी कम बताई जा रही है, उतनी मात्रा में चीनी कम नहीं है।

मिल के अंदर गोदाम के शटर टूटे हुए है। वहीं छत टूटी हुई है। छत से पानी रिसता है। वही बंदरों द्वारा खाने और फैलने पर गोदाम में चीनी फैली हुई है। छत से होकर बारिश का पानी नीचे आ जाता है, जिससे 528 क्विंटल चीनी कम हुई है। ऑडिट टीम द्वारा जो 1100 क्विंटल चीनी कम बताई जा रही है, वह गलत है। सिक्योरिटी गार्ड सहित अन्य कर्मचारियों ने बताया कि बंदरों का तो यहां काफी आतंक है और 2020 के बाद यहां चीनी उत्पादन नहीं हो रहा है।मिल में मेंटेनेंस भी नहीं हुआ है।चीनी कैसे कम हुई यह उन लोगों को कुछ नहीं पता है, लेकिन बंदर इतनी चीनी नहीं खा सकते है।

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