संभल : उत्तर प्रदेश में चीनी सीजन अपने अंतिम दौर में पहुंच चुका है, लेकिन तभी मिलें और किसानों के सामने टॉप बोरर नामक कीट की नई समस्या उभरकर सामने आई है। टॉप बोरर के हमले से किसान काफी चिंतित है, और वो उसे रोकने के तरीकों को तलाश रहें है। कई चीनी मिलें भी किसानों की मदद के लिए आगे आई है। असमोली चीनी मिल की ओर से किसानों को कम कीमत पर कीटनाशक दी जा रही है। यदि समय से इस रोग पर काबू नहीं पाया गया तो गन्ने की फसल को नुकसान हो सकता है।
अमर उजाला में प्रकाशित खबर के अनुसार, संभल जनपद में करीब 60 हजार हेक्टेयर भूमि पर गन्ने की फसल का उत्पादन होता है। गन्ने की फसल में टॉप बोरर कीट का प्रकोप देखा जा रहा है। विशेषज्ञों के अनुसार, प्रथम एवं द्वितीय पीढ़ी कीटों के अंडे या सूड़ियां दिखाई दें तो उससे प्रभावित पत्तियों को तोड़ कर नष्ट कर दें। अधिक प्रभावित पौधों को पूरा काट कर नष्ट कर देना चाहिए। जिला कृषि अधिकारी ओंकार सिंह ने बताया कि, टॉप बोरर कीट कोशा-0238 प्रजाति को काफी नुकसान हो रहा है। कीट नियंत्रण को क्लोरेंट्रनिलीपरोले रसायन 18.5 प्रतिशत और एसएससी 150 एमएल दवा का 400 लीटर पानी में घोल तैयार कर लें। यह घोल स्प्रे मशीन से जड़ के भाग में करना चाहिए। कोरोजन का स्प्रे भी कर सकते हैं। स्प्रे करने से कीट की रोकथाम और नियंत्रण में मदद मिलेगी।
Gannna ki davaye