रुड़की : लोन की रिकवरी के नोटिस से गन्ना किसानों में हड़कंप मचा गया।
हिन्दुस्तान में प्रकाशित खबर के अनुसार, किसान जरूरत पड़ने पर गन्ना समिति से कर्ज के तौर पर खाद लेते हैं। सीजन में चीनी मिल से गन्ने का भुगतान आने पर समिति कर्जा काटकर बाकी पैसा किसान को दे देती है। पिछली बार लक्सर में बाढ़ से गन्ने को 50 से 75 फीसदी तक नुकसान पहुंचा था। इससे किसान समिति का कर्ज नहीं चुका पाए। पिछले एक हफ्ते में गन्ना समिति ने क्षेत्र के ऐसे लगभग 22 हजार किसानों को कर्ज की रिकवरी के नोटिस भेज दिए। इस नोटिस से किसानों में गुस्सा फुटा। किसान प्रतिनिधि विशाल डब्बू, राहुल चौधरी, बचन सिंह, अरविंद कुमार, इकबाल सिंह आदि ने गन्ना समिति अध्यक्ष चौधरी जितेंद्र नागर और प्रभारी सचिव गांधीधाम सिंह से मिलकर कड़ी आपत्ति जताई।उन्होंने कहा कि, बाढ़ के बाद सरकार ने कर्ज की वसूली रोकी थी।फिलहाल किसान के पास पैसा नहीं है और वे अगले पेराई सत्र के भुगतान में से ही कर्ज अदा कर सकते हैं।